“हर घर तिरंगा” अभियान में स्वयंसेवी संगठन एवं जनप्रतिनिधिगण सक्रिय भागीदारी निभायेंगे
कलेक्टर श्री सिंह की मौजूदगी में अभियान की तैयारियों को लेकर हुईं बैठकें

“हर घर तिरंगा” अभियान में क्राइसेस मैनेजमेंट समूह एवं स्वयंसेवी व खेल संगठन भी बढ़चढ़कर योगदान देंगे। कलेक्टर श्री कौशलेन्द्र विक्रम सिंह की मौजूदगी में मंगलवार को आयोजित हुई क्राइसेस मैनेजमेंट कमेटी के सदस्यों एवं स्वयंसेवी व खेल संगठनों की अलग-अलग बैठकों में सभी ने देशभक्ति की भावना से ओतप्रोत इस अभियान में सक्रिय भागीदारी निभाने का भरोसा दिलाया है। जन – जन में देशभक्ति की भावना जागृत करने और राष्ट्रीय ध्वज के प्रति सम्मान प्रदर्शित करने के उद्देश्य से ग्वालियर जिले में भी 11 से 17 अगस्त तक “हर घर तिरंगा” अभियान चलाया जायेगा।
कलेक्टर श्री कौशलेन्द्र विक्रम सिंह ने बैठक में कहा कि हमारे प्रयास ऐसे हों, जिससे लोग स्वेच्छा से अपने घर, दुकान, प्रतिष्ठान, कार्यालय इत्यादि में राष्ट्रीय ध्वज फहराने के लिये प्रेरित हों। उन्होंने आग्रह किया कि हर घर तिरंगा अभियान के प्रति जनजागरण के लिये स्थानीय स्तर पर रैलियाँ व प्रभात फेरियाँ भी निकाली जाएँ। कलेक्टर ने यह भी कहा कि झण्डा फहराते समय राष्ट्रीय ध्वज के सम्मान व गरिमा का पूरा ध्यान रखा जाए। अर्थात सभी लोग ध्वज संहिता का पालन करते हुए राष्ट्रीय ध्वज फहराएँ।
बैठक में जानकारी दी गई कि ग्वालियर शहर में 25 क्षेत्रीय कार्यालयों सहित शहर के प्रमुख मार्ट, दुकानों व अन्य संस्थानों में सशुल्क राष्ट्रीय ध्वज उपलब्ध रहेंगे। शहर में लगभग 150 स्थानों पर ध्वज उपलब्ध कराने की व्यवस्था की जा रही है।
क्राइसेस मैनेजमेंट समूह की बैठक में संत कृपाल सिंह जी, श्री देवेश शर्मा व श्री वीरेन्द्र जैन सहित अन्य जनप्रतिनिधियों ने उपयोगी सुझाव दिए। साथ ही हर घर तिरंगा अभियान में पूर्ण सहयोग देने का भरोसा दिलाया। अपर कलेक्टर श्री इच्छित गढ़पाले एवं अपर आयुक्त नगर निगम श्री मुकुल गुप्ता ने अभियान के बारे में उपयोगी जानकारी दी। बैठक में जिला पंचायत के अतिरक्ति मुख्य कार्यपालन अधिकारी डॉ. विजय दुबे व जन अभियान परिषद के जिला अध्यक्ष श्री शैलेन्द्र दीक्षित सहित विभिन्न स्वयंसेवी व खेल संगठनों के प्रतिनिधिगण मौजूद थे।
झण्डा संहिता
• भारत का राष्ट्रीय ध्वज जिसे तिरंगा भी कहते हैं, तीन रंग की क्षैतिज पट्टियों के बीच नीले रंग के अशोक चक्र द्वारा सुशोभित ध्वज है।
• राष्ट्रीय ध्वज खादी, कॉटन, रेशम या पॉलिस्टर से ही निर्मित हो। इसकी लंबाई एवं चौड़ाई का अनुपात 2 : 3 होना चाहिए।
• राष्ट्रीय ध्वज इस तरह से लगाया जाना चाहिए कि केसरिया रंग सबसे ऊपर हो। बीच में श्वेत, नीचे हरा रंग होना चाहिए। सफेद पट्टी में अशोक चक्र अंकित होना चाहिए। जिसमें 24 तीलियाँ होनी चाहिए।
• राष्ट्रीय ध्वज को हाफ मास्ट (आधे डण्डे) पर नहीं फहराया जाना चाहिए।
• ध्वज पर कुछ भी लिखा या छपा नहीं होना चाहिए।
• फटा हुआ या क्षतिग्रस्त ध्वज नहीं फहराना चाहिए।
• किसी भी स्थिति में राष्ट्रीय ध्वज जमीन पर टच नहीं होना चाहिए।
• किसी भी दूसरे झंडे को राष्ट्रीय झंडे के समीप ऊँचा नहीं रख सकते, न लगा सकते हैं।
• राष्ट्रीय ध्वज को क्षतिग्रस्त होने, गंदा होने या अभियान समाप्ति उपरांत सार्वजनिक स्थल पर या ऐसे स्थान पर नहीं फेंका जाना चाहिए, जिससे ध्वज के सम्मान को ठेस पहुँचे।
• राष्ट्रीय ध्वज को हर घर तिरंगा अभियान की समाप्ति पर निजी तौर पर धोकर तथा तदुपरांत सहेजकर घर में ही सुरक्षित स्थान पर रखा जाना चाहिए।

Subscribe to my channel



